Description of the Book:
ये किताब मेरी सोच को शब्दों के सहारे काग़ज़ पर उतारने का एक ज़रिया है। ये उस सफर का प्रथम पग है जहाँ हर पग अपने आप में एक उपलब्धि है। इस किताब के माध्यम से कुछ विषयों पर एक नये दृष्टिकोण को दर्शाने का प्रयास किया गया है। हम आज कल हर चीज़ का मूल्य लगाने के आदी होते जा रहें हैं, धीरे धीरे हम ये भी भूलते जा रहें हैं कि उममीदों का, प्रेम का, प्रकृति का और जीवन का कोइ मूल्य नही लगा सकता। धन और संसाधनों को प्राप्त करना आवश्यकता हो सकती है परंतु यही मान लेना कि खुशियाँ भी धन की ही मोहताज हैं और किसी भी चीज की हमें आवश्यकता नही है ये गलत है। जिस तरह बचपन की मिठास को बड़े होकर केवल याद ही किया जा सकता है चखा नही जा सकता उसी प्रकार आज के अनुभवों को भी आज ही जिया जा सकता है, कल पर नहीं छोड़ा जा सकता। ऐसी ही चंद गूढ रहस्यों को जो कभी हम सब के लिए रहस्य नही थे अपनी कविताओं के द्वारा आप तक पहुंचाने की ये एक कोशिश है।
सफर
Author's Name: Chandrima Nagar
About the Author: मैं पेशे से एक इंजीनियर हूँ और अपने काम के साथ साथ लिखने में भी रुचि रखती हूँ। जीवन संघर्ष के साथ साथ संतुलन का नाम है। अपने पेशे के साथ अपनी रुचिगत लेखनी को बढ़ावा देना ही मेरे जीवन को संतुलित बनाता है। अपनी लेखनी के जरिये अपने विचारों को शब्द देना और एक नये दृष्टिकोण को सबके समक्ष प्रस्तुत करना ही मेरे कवियित्री जीवन का उद्देश्य है। Book ISBN: 9789360940287