Description of the Book:
इस किताब में लिखी कविताएँ मेरे मातृ प्रेम को अभिव्यक्त करने का एक माध्यम है। माँ का महत्व जीवन में हम सभी
को पता है परन्तु अपने भाव माँ तक पहुँचाने में अधिकतर लोग कंजूसी कर जाते है। "माँ तो सब जानती ही है", यह
मानकर हम बच्चे उसे ख़ास महसूस करके भूल जाते है। ज़िन्दगी की रफ़्तार में इतने व्यस्त हो जाते हैं की अपनी ही
भावना से दूरी बना लेते हैं। मेरी कविताओं के जरिये मैं उन दबे भावों को जगाना चाहती हूँ और माँ के महत्व को
उजागर करना चाहती हूँ। चाहे आपकी माँ आपके साथ है , किसी दूसरे देश में हैं या स्वर्ग लोक से आपको स्नेह भेज रही है
, बस दिल से उन्हें याद कीजिये और उनका शुक्रिया कीजिये क्यूंकि उन्ही की वजह से आपको यह खूबसूरत ज़िन्दगी जीने
का अवसर मिला।
एक माँ ही है जो जीवन भर बिना किसी लोभ के हमारे साथ चलती हैं। इस मतलबी दुनिया में एक वह ही है जो अपनी
ख़ुशी को त्यागकर पहले हमें दुनिया की सारी खुशियां लाकर देने का जज़्बा रखती है। जीवन में जब जब भी हम ठोकर
खाते हैं तो एक माँ ही है जो हमें उठाती है और आगे बढ़ने के लिए प्रोत्साहित करती है। माँ के हाथ का स्पर्श दुनिया के
सब दुःख दर्द भुला देता है। माँ के लिए जितना भी लिखिए वह कम ही होगा। इन कविताओं में मैंने अपने मनोभावों की
अभिव्यंजना सरल शब्दों में करने का प्रयास किया है।
आशा करती हूँ आपको यह कवितायेँ अपनी सी लगेंगी और आपके ह्रदय पर मातृ प्रेम की दस्तक देंगी
स्नेह का समंदर - माँ
Author's Name: दीप्ति गुप्ता देवीकार. About the Author: मेरा नाम दीप्ति गुप्ता देवीकर है। मैं एक आई टी प्रोफेशनल हूँ और दो प्रतिभावान बच्चों की माँ हूँ। हिंदीकविताएं लिखने का जज्बा मुझमें करीब २० साल पहले पैदा हुआ और इसका श्रेय मैं अपने माता पिता कोदेती हूँ जिनकी रचनाओं से मैं हमेशा प्रभावित रही हूँ। मेरी कविता भावनाओं से परिपूर्ण हैं और आसानभाषा में लिखी हुयी हैं। यह ज्यादातर ज़िन्दगी के एहम रिश्तों के प्रभाव और महत्व को दर्शाती हैं। इसकिताब में लिखी रचनाएं मेरी माँ के प्रति मेरे प्यार की एक छोटी सी झलक है। वह मेरे और मेरे भाई बहनके जीवन का स्तम्भ हैं। आशा करती हूँ मेरी कविताओं में आपको अपनी माँ की छवि भी देखने को मिलेगीऔर मेरे भाव आप तक पहुंचेंगे। Book ISBN: 9789358732986